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3.2 िानभकीय एवं नवनकरण सुनवधाओं का नियामक नवनकरण सुनविाओं के मामिों में, उि सुनविाओं के निरीक्ण को
निरीक्ण प्राथनमकता दी राती है रहां से अत्यनिक उद्ासि की ररपोटजा प्राप्त हुई हो
अथवा रहां से सावनिक संरक्ा नस्थनत ररपोटजा प्राप्त ि हुयी हो (नवशेषत:
एईआरबी द्ारा नििाजाररत संरक्ा आवशयकताओं तथा प्रनतबंिों के निनष्क्रय न्यूनक्ियानिक गेर संस्थाि)। एक अनभिव उपाय के रूप में,
अिुपािि को सुनिनचित करिे के निए संरक्ा आनडट के रूप में िानभकीय, नियामक आवशयकताओं का अिुपािि बढािे के निए, सामान्य निरीक्ण
औद्ोनगक एवं नवनकरण सुनविाओं का नियामक निरीक्ण नकया राता गनतनवनियों के समय नवनकरण संरक्ा पहिुओं पर रागरुकता कायजाक्रम भी
है। िानभकीय एवं औद्ोनगक सुनविाओं में पररयोरिा प्रबंिि, संरक्ा आयोनरत नकये गये। यद्नप एईआरबी उच्च रोनख़म वािी िानभकीय व
संस्कृनत, नसनवि निमाजाण, गुणवत्ता आशवासि, उपकरण भंडारण एवं अन्य नवनकरण सुनविाओं का प्रभावी नियमि कर रहा है परंतु देश भर में
सुरक्ण, संरक्ा संबंिी प्रमुख उपकरणों का निमाजाण एवं स्थापिा, प्रिेखि, फैिी िैदानिक एक्स-रे सुनविाओं को नियामक नियंत्रण के अंतगजात िािे
कमीशिि व प्रचािि गनतनवनियों, औद्ोनगक एवं अनग्ि संरक्ा, िानभकीय मे चुिौनतयों का सामिा करिा पड रहा है। इस संबंि में देश के बडे शहरों/
सुरक्ा, नवनकरण मािीटरि तथा आपातकाि की तैयारी आनद पहिुओं पर कस्बों में नवशेष अघोनषत निरीक्ण नकये राते हैं तथा नियामक व संरक्ा
बि नदया राता है। नियामक निरीक्णों के निए एईआरबी क्रनमक नवनि आवशयकताओं का पािि ि करिे वािी सुनविाओं को सीि नकया राता
अपिाता है। नकसी िानभकीय सुनविा में नियोनरत निरीक्णों की संखया है या उन्हें चेताविी रारी की राती है।
उसमें संभानवत रोनख़म स्तर पर निभजार करती है तथा वषजा में 1 से 8 तक हो
सकती है। निरीक्ण का नवषय-क्ेत्र तथा गहिता, सुनविा के अिुमनत चरण यद्नप एकस-रे उपकरण निमि जोनख़म वग्व में आते हैं परंतु
तथा वहां की गनतनवनियों पर निभजार है। इसके अिावा महत्वपूणजा घटिा उिकी सथिापिा व प्रचालि एईआरबी द्ारा निनद्वष्ट नवनकरण संरक्षा
घटिे के बाद या नवशेष गनतनवनियों को देखिे के निए अनतररक्त निरीक्ण आवश्यकताओं के अिुरूप होिा आवश्यक है।
भी नकये राते हैं।
एईआरबी िे चार संयंत्र स्थिों (रावतभाटा, किपक्कम, काकरापार
तथा क ु डिक ु िम) में स्थि प्रेक्कदि नियुक्त नकये हैं। ये दि इि स्थिों नियामक निरीक्ण, मुखयािय तथा क्ेत्रीय नियामक कें द्रों दनक्णी
पर प्रचानित व क्ेत्र नियामक कें द्र, चेन्िई; पूववी क्ेत्र नियामक कें द्र, कोिकाता तथा उत्तरी
निमाजाणािीि संयंत्रों एईआरबी के सथिल प्रेक्षक दल 4 क्ेत्र नियामक कें द्र, नदलिी द्ारा नकये राते हैं। इसके अनतररक्त क ु छ प्रदेशों
की गनतनवनियों की संयंत्र सथिलरों पर 19 िानभकीय सुनवधाओं में िैदानिक एक्स-रे सुनविाओं में नवनकरण संरक्ा सुनिनचित करिे के निए
निगरािी करते हैं तथा की निरंतर निगरािी करते हैं। वहां के नवनकरण संरक्ा निदेशािय/नवनकरण संरक्ा एरेंसी को नियामक
प्रत्येक नदि एईआरबी निरीक्ण के निए प्रानिकृत नकया गया है।
मुखयािय को ररपोटजा एईआरबी िानभकीय एवं नवनकरण सुनविाओं के नियामक निरीक्ण
भेरते हैं। अत: इि स्थिों पर 12 प्रचानित, 2 कमीशिि के अनिक तथा के दौराि पाये गये नवचििों के संरक्ा महत्व के नििाजारण के निये क्रनमक
5 निमाजाणािीि संयंत्रों पर निरंतर नियामक निगरािी रारी है। अन्य संयंत्र नवनि अपिाती है। पाये गये नवचििों को उिके आरोही संरक्ा महत्व
स्थिों पर एईआरबी नियोनरत निरीक्णों के अिावा, सुनविा के प्रचािि के अिुसार सफे द, िारंगी व िाि प्रेक्णों में बांटा राता है नरन्हें िीचे
व अिुरक्ण आनद की रािकारी के निए अघोनषत निरीक्ण भी करती है। नदखाया गया है –
52 वार्षिक प्ररिवेदन 2019